भोपाल। मध्यप्रदेश में बारिश की वजह से कुछ हिस्सों में बाढ़ से हालात बिगड़ गए हैं। ग्वालियर-चंबल में लगातार बारिश से पार्वती, कूनो, क्वारी और सिंध नदी उफान पर हैं। शिवपुरी, श्योपुर और गुना में 350 से अधिक गांव बाढ़ में घिर गए हैं। शिवपुरी में ही अकेले 1500 से ज्यादा लोगों को रेस्क्यू किया जा रहा है। बाढ़ में फंसे लोगों को वायुसेना के तीन हेलिकॉप्टर हर्रई, सिलपरी जैसे गांवों से एयरलिफ्ट कर सुरक्षित स्थानों पर पहुंचा रहे हैं। वहीं श्योपुर में NDRF और SDRF की टीम भेजी गई है। भिंड के आलमपुर में पुल बह गया है। 24 घंटे में श्योपुर में 5 इंच, गुना में 4 इंच, शिवपुरी के बैराड़ में 11 इंच बारिश हुई है। दरअसल, मानसून के सिस्टम के दक्षिण बिहार से यूपी तरफ शिफ्ट होने से ग्वालियर-चंबल में घनघोर बारिश हो रही है। इधर, मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान खुद स्टेट सिचुएशन रूम से बचाव कार्यों पर नजर बनाए हुए हैं।
शिवपुरी मुख्यालय से 90 किमी दूर पोहरी तहसील में पार्वती नदी के चारों तरफ हर्रई, बरखेड़ा, सिलपरी गांव में 1500 ग्रामीण पानी के बीच में फंसे हैं। यहां उन लोगों को पहले निकालने के लिए टारगेट किया जा रहा है, जिनके घरों में पानी भर गया है या रहने लायक स्थिति में नहीं हैं। इन सभी को वायु सेना एयरलिफ्ट कर रही है। पोहरी और छर्च क्षेत्र के 96 से ज्यादा गांव बाढ़ की चपेट में हैं।
तेज बारिश में नहीं उतर पाए दो हेलिकॉप्टर
शिवपुरी जिले में बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में चल रहे रेस्क्यू ऑपरेशन की मुख्यमंत्री लगातार जानकारी लेकर आवश्य दिशा निर्देश दे रहे हैं। कुछ देर पहले मुख्यमंत्री ने रेस्क्यू ऑपरेशन की जानकारी ली। ग्वालियर एयरबेस से भारतीय वायुसेना के तीन हेलिकॉप्टर रेस्क्यू ऑपरेशन में जुटे हुए हैं। एक हेलिकॉप्टर द्वारा कुछ देर पहले चार लोगों को रेस्क्यू किया गया है। दो हेलिकॉप्टर तेज बारिश के कारण शिवपुरी के बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में उतर नहीं पाए। इससे पहले मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने सोमवार सुबह रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह से फोन पर चर्चा कर वायुसेना की मदद मांगी थी जिसके बाद वायु सेना के चार हेलिकॉप्टर रेस्क्यू ऑपरेशन में जुटे। शिवपुरी के प्रभारी मंत्री महेंद्र सिंह सिसोदिया मंगलवार को क्षेत्र में दौरा करने जाएंगे।
केंद्रीय नागरिक उड्डयन मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया ने भी रक्षा मंत्रालय से बाढ़ की स्थिति के बारे में बात कर हिंडन से 2 MI-171 V, सूरत से 2 MI -17 V-5 , चंडी से 1 चिनूक हेलिकाॅप्टर शिवपुरी में भिजवाने की मांग की है। उन्होंने बताया कि 1 ALH और एक M17 हेलिकाॅप्टर प्रभावित क्षेत्रों की ओर जा चुके हैंI टास्क फ़ोर्स ग्वालियर पहुँच चुकी है।
श्योपुर में लगातार बारिश की वजह से जिला टापू बना हुआ है। जिले के कराहल और विजयपुर क्षेत्र 100 से ज्यादा गांवों में बाढ़ का पानी घुस गया है। यहां के विजयपुर कस्बे में बाढ़ में फंसे 60 लोगों को रेस्क्यू करके निकाला गया है। हाईवे पर बने पुल के ऊपर से पानी बह रहा है। इसकी वजह से श्योपुर का राजस्थान से तीसरे दिन भी संपर्क कटा हुआ है। यही हाल गुना का है। कई गांवाें में बाढ़ की स्थिति है। यहां दीवार गिर जाने से एक बच्चे की मौत हो गई, जबकि भिंड में एक बच्चा डूब गया। सतना और रीवा में रात से बारिश नहीं होने से थोड़ी राहत मिली है, लेकिन बाढ़ की वजह से गांव में घर गिरने और रास्ते बह जाने की वजह से काफी नुकसान हुआ है।
श्योपुर का राजस्थान से संपर्क कटा
जिले में तीन दिन से लगातार बारिश हो रही है। 12 घंटे में साढ़े 3 इंच से ज्यादा बारिश हुई है। इसकी वजह से पार्वती, कूनो, क्वारी और सीप नदियां उफान पर हैं। एक तरह से श्योपुर जिला टापू बन गया है। श्योपुर जिला और उसके कस्बे कराहल, विजयपुर, श्योपुर और बड़ौदा में पानी भर गया है। श्योपुर का राजस्थान से संपर्क कट गया है। विजयपुर में बाढ़ का पानी घुसने से कोठारी पैलेस और आसपास के घरों में लोग फंस गए। 60 लोगों को रेस्क्यू करके दो घंटे बाद निकाला गया। इसके अलावा मानपुर हॉस्पिटल में फंसे 30 लोंगो को होम गार्ड की टीम द्वारा रेस्क्यू कर बाहर निकाला गया है।
नदी उफान पर होने की वजह से रास्ता बंद।
शिवपुरी: पाेहरी और छर्च में सबसे ज्यादाप्रभावित, 3 गांवाें में फंसे डेढ़ हजार लोगों को बचाने की तैयारी
शिवपुरी में लगातार बरिश पूरे जिले की स्थिति खराब है। शहर में बारिश का पानी भर गया है। कूनो और क्वारी नदी के उफान पर आने की वजह से पोहरी, खर्च में 100 से अधिक गांव बाढ़ की चपेट में आ गए हैं। कुछ गांवों में बाढ़ का पानी घरों में घुस गया है। इसकी वजह से छतों पर डेढ़ हजार लोग फंसे हैं। यहां पर एनडीआरएफ और एसडीआरएफ की टीमें रेस्क्यू कर रही हैं। वहीं, अपर कैकेटो बांध में पानी भरने की वजह से उसके 11 गेट खोलने पड़े। शहर के भदैयाकुंड में फंसे युवक को बचाया गया।
गुना: 150 से ज्यादा गांव बाढ़ में घिरे, राजस्थान का हाईवे भी बंद
जिले में 24 घंटों में 106 मिमी बारिश दर्ज की गई है। बमोरी इलाके में पार्वती, सिंध और कूनो नदी उफान पर हैं। लगभग 150 गांव का संपर्क शहर और कस्बों से कट गया है। ढीमरपुरा के रास्ते में नदी उफान पर होने से प्रशासनिक मदद नहीं पहुंच पाई है। विशनवाड़ा क्षेत्र का संपर्क भी टूट गया है। इस इलाके में 8 गांव के लोग घरों में कैद हो गए हैं। राजस्थान जाने का रास्ता बंद हो गया है। वहीं, शहर से 12 किमी दूर नयागांव में रविवार रात कच्चे मकान की दीवार गिर गई। इसमें दबकर गोपाल लोधा के बेटे नक्श (3.5) की मौत हो गई।
भिंड- दो की गई जान
बारिश की वजह से भिंड में सिंध नदी उफान पर है। लहालौरी गांव के किनारे सिंध नदी के ऊपरी बीहड़ में बने बांध में बारिश का पानी भर गया। इस बांध में गांव का रोहित (5) डूब गया। वहीं, दबोह कस्बे में प्रगति पुत्री संतोष नायक का मकान गिर गया। हादसे में 12 साल के बच्ची की मौत हो गई। इस हादसे में परिवार के दूसरे सदस्य घायल हो गए। इधर, आलमपुर कस्बे में सोन मृगा नदी में जलस्तर बढ़ गया। कस्बे के नजदीक सोन मृगा नदी पर पुल का निर्माण चल रहा है। यहां बारिश के बाद नदी का जलस्तर बढ़ा तो कच्चा पुल बह गया।
भिंड में बच्चे का शव निकालते गोताखोर।
छतरपुर: गांव पानी में घिरे
जिले में लगातार बारिश हो रही है। चंदला के ग्राम पंचायत बंजारी और भगौरा में पानी भर जाने की वजह से स्थिति खराब हो गई है। दोनों गांवों का संपर्क जिला मुख्यालय से कट गया है। बंजारी में बने शासकीय हाई स्कूल परिसर में पानी भर गया। चंदला को जोड़ने वाले मार्ग पर 2 मीटर पानी भर गया है।
चौबीस घंटों के दौरान ग्वालियर-चंबल में बारिश
शिवपुरी के बैराड़ में 11 इंच, पोहरी में 8 इंच, नरवर में 7 इंच, पिपरसमा में 5.5 इंच, बदरवास में 5.5 इंच, कोलारस में 5 इंच, शिवपुरी शहर में 4.5 इंच बारिश हुई है। वहीं श्योपुर कलां के विजयपुर में 7, कराहल में 5 इंच, शहर में 4.5 इंच, दतिया शहर में 5.5 इंच पानी गिर चुका है। अशोकनगर जिले के चंदेरी में 5 इंच, ईसागढ़ में 4 इंच, मुरैना के सबलगढ़ में 5 इंच, गुना शहर में 4 इंच सबसे ज्यादा पानी गिरा।
इसलिए यहां ज्यादा बारिश
वर्तमान में एक स्ट्रांग लो प्रेशर एरिया दक्षिणी उत्तर प्रदेश क्षेत्र में सक्रिय है। यह अगले 48 घंटों में पश्चिमी उत्तर प्रदेश की तरफ जाएगा। दक्षिणी हरियाणा में एक अन्य निम्न दाब क्षेत्र भी सक्रिय है। इसी कारण मध्यप्रदेश के ग्वालियर, मुरैना, अशोक नगर, रायसेन, गुना और राजगढ़ में ज्यादा पानी गिर रहा है।
छतरपुर में सड़क पर भरा पानी।
रीवा: आधा दर्जन नदियां खतरे के निशान के ऊपर
विंध्य क्षेत्र के रीवा जिले में हुई भारी वर्षा के बाद दूसरे दिन सोमवार को भी हालात खराब दिखे। टमस, बेलन और अन्य 4 सहायक नदियां उफान पर हैं। उधर, सोहागी थाना क्षेत्र के उसर गांव के 100 ग्रामीण अभी भी राहत कैंपों में हैं। साथ ही SDERF की टीमें गांव गांव में तैनात हैं।
शिवपुरी के बाढ़ के हालात पर नजर
शिवपुरी में बारिश के बीच पार्वती नदी की बाढ़ में कुछ गांव फंसे हैं। बैठक के बीच मुख्यमंत्री ने शिवपुरी कलेक्टर अक्षय कुमार सिंह से चर्चा की। उन्होंने बताया कि SDRF की टीम मौके पर है, NDRF की टीम रवाना हो चुकी है। जबलपुर-ग्वालियर से SDRF की अतिरिक्त टीमें भेजने के निर्देश दिए गए हैं। फंसे लोगों को एयरलिफ्ट कराने के लिए एयरफोर्स से संपर्क किया गया है। मुख्यमंत्री ने गृहमंत्री नरोत्तम मिश्रा और राजस्व मंत्री गोविंद राजपूत को हालात पर नजर रखने के निर्देश दिए हैं।
रीवा में बारिश के बाद खेतों में भरा पानी।
देर रात खोले जा सकते हैं मणिखेड़ा डैम के गेट
शिवपुरी में लगातार हो रही बारिश के कारण सिंधु नदी पर बने मणिखेड़ा डैम में जलस्तर लगातार बढ़ रहा है। तेज बारिश के कारण लगभग फुल हो चुके मड़ीखेड़ा डैम के गेट देर रात खोले जा सकते हैं, जिससे सिंध नदी का जलस्तर बढ़ेगा और इसका असर शिवपुरी , भिंड और दतिया जिले के कई गांवों में होने की संभावनाएं हैं। मुख्यमंत्री ने तीनों जिलों के प्रशासन को अलर्ट रहने के लिए कहा है।